गवाह है गुज़रता समय, ١ कि वास्तव में मनुष्य घाटे में है, ٢ सिवाय उन लोगों के जो ईमान लाए और अच्छे कर्म किए और एक-दूसरे को हक़ की ताकीद की, और एक-दूसरे को धैर्य की ताकीद की ٣